गीत -नजरे नजर म झुल/ गायक -श्री भरत जाटव/गीतकार -स्व चंद्रकांत बघधर्रा /ब्लॉगर -कैलाश पंचारे
गीत -नजरे नजर म झुल
गायक -श्री भरत जाटव
गीतकार -स्व चंद्रकांत बघधर्रा
ब्लॉगर -कैलाश पंचारे
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गीत-नजरे नजर म झूल
नजरे नजर म झूल झूलना दाई नजरे नजर म झूल-२
उड़ान -" निरखत रुप अगम जग मोहनी "
मै धन जातेव फूल दाई मोर नजरे नजर म झूल
(१ ) अब्बड़ सघेलनी के गरीब हा बेटवा
सिटका कुरिआ में फुसका के ढेलवा
उड़ान -" येदे बरथे चूल "
दाई मोर नजरे नजर म झूल
(२ ) चन्दन काठ रेशम के वो सुतरी
महगी म पाहु पाहु मन उतरी
उड़ान -" येदे बरथे चूल "-२
दाई मोर नजरे नजर म झूल
(३ ) आशा बिसवा सा के दू खम्भा
कभू डोलाबे मति मत अम्बा
उड़ान -" भूल के होये भूल "
दाई मोर नजरे नजर म झूल
(४ ) मिलखि मारे बिना टक लगाये
देखत मूरत बघधर्रा माँ के
उड़ान -" दुनिया चरण के धूल "
दाई मोर नजरे नजर म झूल
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